प्राचीन संहिता ग्रंथों में ज्योतिष के 18 प्रवर्तक के बारे में बताया गया है। इन 18 प्रवर्तकों में सर्वाधिक दीर्घजीवी लोमश ऋषि महर्षि हैं। भगवान शिव द्वारा लोमश ऋषि को अत्यन्त दीर्घजीवी होने का वरदान प्राप्त है।