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इस दिन है मौनी अमावस्या, जानें शुभ मुहूर्त, महत्त्व और नियम

By Astro panchang | Feb 05, 2021

हिन्दू धर्म में मौनी अमावस्या का बहुत महत्व है। हिन्दू पंचांग के अनुसार, माघ मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि को माघी अमावस्या या मौनी अमावस्या कहा जाता है। इस बार मौनी अमावस्या 11 फरवरी (गुरुवार) को है। इस दिन लोग गंगा नदी या अन्य पवित्र नदियों में स्नान करते हैं। मौनी अमावस्या के दिन पीपल के पेड़ तथा भगवान विष्णु की विधिपूर्वक पूजा करते हैं। इस दिन मौन व्रत रखने की भी परंपरा है। पौराणिक कथा के अनुसार इस दिन मनु ऋषि का जन्म हुआ था और उन्हीं के नाम से मौनी शब्द की उत्पत्ति हुई। इसलिए इसे मौनी अमावस्या कहा जाता है। मौनी अमावस्या को मौन व्रत रखने से व्यक्ति का आत्मबल मजबूत होता है।

मौनी अमावस्या 2021 मुहूर्त
माघ मास के कृष्ण पक्ष की अमावस्या तिथि 10 फरवरी को रात 01 बजकर 08 मिनट पर शुरू होकर, 11 फरवरी को रात 12 बजकर 35 मिनट तक है। ऐसे में उदया तिथि 11 फरवरी को हो रही है, इसलिए मौनी अमावस्या 11 फरवरी को मनाई जाएगी। 11 फरवरी को ही मौनी अमावस्या का स्नान, दान, व्रत, पूजा-पाठ आदि किया जाएगा।

मौनी अमावस्या को गंगा स्नान एवं दान
मौनी अमावस्या के दिन मौन रहकर दान करने का विशेष महत्व है। इस दिन गंगा या अन्य किसी पवित्र नदी में स्नान करें, इससे आपका आत्मबल मजबूत होगा। गंगा स्नान के बाद जरूरतमंद लोगों को तिल के लड्डू, तिल, तिल का तेल, वस्त्र, आंवला आदि दान करें।

पीपल के वृक्ष की पूजा
धार्मि​क मान्यताओं के अनुसार, मौनी अमावस्या के दिन पीपल के वृक्ष की पूजा करने से सौभाग्य में वृद्धि होती है। कहा जाता है कि पीपल के पेड़ में त्रिदेव का वास होता है। ऐसे में पीपल के पेड़ की पूजा करने से व्यक्ति को ब्रह्मा, विष्णु और भगवान शिव तीनों की ही कृपा प्राप्त होती है। इस दिन पितरों की तृप्ति के लिए तर्पण, पिंडदान आदि करने का विधान है। ऐसा करने से पितर प्रसन्न होते हैं और सुख, समृद्धि और वंश वृद्धि का आशीर्वाद देते हैं।

मौनी अमावस्या के नियम
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